school principal kaise bane

भारत में अनेक युवा स्कूल टीचर बनने का सपना देखते हैं और इसके अनुसार ही अपनी पढ़ाई भी करते हैं, परन्तु शिक्षक बनने का सपना साकार होने के उपरांत अनेक शिक्षक विद्यालयों में प्रिंसिपल बनने का सपना भी देखते हैं। यदि आप भी उनमें से एक हैं जो किसी सरकारी / निजी विद्यालय में शिक्षक और अंततः एक प्रिंसिपल बनने की इच्छा रखते हैं तो आपको इस लेख में स्कूल प्रिंसिपल बनने से सम्बंधित सभी महत्वपूर्ण जानकारियां मिलेंगी। अतः आइये जानते हैं कि स्कूल प्रिंसिपल कैसे बनें

स्कूल प्रिंसिपल क्या होता है

स्कूल प्रिंसिपल किसी भी स्कूल या विद्यालय का सर्वोच्च अधिकारी होता है जो स्कूल का नेतृत्व करता है और स्कूल के प्रशासन से जुड़ी सभी गतिविधियों का प्रबंधन करता है।

भारत के सभी सरकारी और निजी विद्यालयों में प्रिंसिपल का पद अवश्य होता है, अतः यदि सभी सरकारी और निजी विद्यालयों को जोड़ दिया जाए तो भारत में स्कूल प्रिंसिपल के पद हज़ारों- लाखों की संख्या में हैं।

स्कूल प्रिंसिपल का क्या काम होता है

एक स्कूल के प्रिंसिपल मुख्यतः निम्नलिखित कार्य करते हैं:-

  • स्कूल का प्रशासनिक नेतृत्व करना।
  • स्कूल के प्रशासनिक कार्यों का प्रबंधन करना।
  • विद्यालय में अनुशासन बनाये रखना।
  • स्कूल की वित्तीय और शैक्षणिक गतिविधियों की निगरानी करना।
  • स्कूल में गुणवत्तापूर्ण शिक्षा को बढ़ावा देना।
  • स्कूल शिक्षकों की शिक्षा गुणवत्ता के लिए समय-समय पर प्रशिक्षित कराना।
  • छात्रों के अभिभावकों के साथ बैठक करना और उनकी समस्याएं सुनना, आदि।

स्कूल प्रिंसिपल कैसे बनें

स्कूल प्रिंसिपल से सम्बंधित अन्य महत्वपूर्ण जानकारियां प्राप्त करने के बाद अब सवाल उठता है कि स्कूल प्रिंसिपल कैसे बनें ? यहाँ पर आपको यह बताना आवश्यक है कि स्कूल प्रिंसिपल और स्कूल लेक्चरर (PGT) की अनिवार्य शैक्षिक योग्यता में कोई अंतर नहीं होता है, परन्तु वांछित शैक्षिक योग्यता प्राप्त करने के उपरान्त कोई व्यक्ति सीधे स्कूल प्रिंसिपल बनने के लिए आवेदन नहीं कर सकता है। उसको पहले स्कूल लेक्चरर के पद के लिए आवेदन करना होगा और कुछ वर्षों के अनुभव के बाद ही वह स्कूल प्रिंसिपल पद के लिए आवेदन करने हेतू योग्यता प्राप्त करता है।

अतः स्कूल प्रिंसिपल बनने के लिए अभ्यर्थियों के पास निम्नलिखित योग्यताएं होनी चाहिए:-

उपरोक्त लिखित अनुभव की शर्तें सम्बंधित राज्य सरकार / केंद्र सरकार विद्यालयों / निजी विद्यालयों के लिए भिन्न-भिन्न हो सकती हैं, जो मुख्यतः पीजीटी (लेक्चरर) के पद पर 8-10 वर्ष का अनुभव वांछित होता है।

उपरोक्त लिखित शैक्षिक और अनुभव योग्यता के अलावा आवदेकों की आयु सीमा भी निर्धारित होती है जो सम्बंधित नियोक्ता सरकार / विद्यालय मैनेजमेंट के अनुसार भिन्न-भिन्न हो सकती है।

नोट: इस लेख के माध्यम से हमने आपको केवल सीनियर सेकेंडरी स्कूलों या इंटरमीडिएट स्कूलों (12वीं कक्षा तक के स्कूलों) के प्रिंसिपल पद की योग्यता बताई है। अन्य स्तर के स्कूल जैसे कि हाई स्कूल (10वीं कक्षा तक के स्कूल), जूनियर हाई स्कूल / मिडिल स्कूल (8वीं तक के स्कूल) आदि में प्रिंसिपल / हेडमास्टर बनने से सम्बंधित जानकारी हम आपको अपने दूसरे लेखों में देंगे।

यह भी पढ़ें:

  1. टीचर कैसे बनें ?
  2. कॉलेज प्रोफेसर कैसे बनें ?

स्कूल प्रिंसिपल बनने के लिए विभिन्न विकल्प

यदि आप स्कूल प्रिंसिपल बनने की योग्यता और इच्छा रखते हैं तो आप रिक्तियां विज्ञापित होने पर निम्नलिखित विद्यालयों में आवेदन कर सकते हैं:-

  • केंद्रीय विद्यालय;
  • राज्य सरकार के विद्यालय;
  • सरकार द्वारा सहायता प्राप्त मैनेजमेंट स्कूल;
  • निजी / प्राइवेट स्कूल; आदि।

स्कूल प्रिंसिपल के पद पर नियुक्ति कैसे होती है

भारत में सरकारी और प्राइवेट सभी विद्यालयों में सम्बंधित योग्यता प्राप्त अभ्यर्थी की प्रिंसिपल के पद पर नियुक्ति निम्नलिखित माध्यमों से हो सकती है:-

  • पदोन्नति (Promotion) के माध्यम से;
  • लिखित परीक्षा या इंटरव्यू या दोनों के माध्यम से सीधी भर्ती।

स्कूल प्रिंसिपल की सैलरी कितनी होती है

यदि हम सरकारी विद्यालयों की बात करें तो उदाहरण के तौर पर केंद्रीय विद्यालयों के प्रिंसिपल का शुरुआती मूल वेतन (Basic Pay) सातवें वेतन आयोग के लेवल 12 के अनुसार 78,800/- रूपये होता है और मूल वेतन के साथ-साथ महंगाई भत्ता, मकान किराया भत्ता आदि सभी देय भत्ते भी दिए जाते हैं।

केंद्रीय विद्यालयों के अलावा राज्य सरकार के अधीन विद्यालयों के प्रिंसिपल की सैलरी सम्बंधित राज्य सरकार द्वारा निर्धारित वेतनमान के आधार पर होती है।

यदि प्राइवेट स्कूलों की बात की जाए तो प्राइवेट स्कूलों के प्रिंसिपल का वेतन सम्बंधित स्कूल के वेतन नियमों के आधार पर अलग-अलग हो सकता है।

निष्कर्ष

यहाँ पर हमने आपको भारत में स्कूल प्रिंसिपल बनने से सम्बंधित सभी महत्वपूर्ण जानकारियां दी हैं। अतः यदि आप भी स्कूल प्रिंसिपल बनने की इच्छा रखते हैं तो इसके लिए अभी से अपनी तैयारी आरम्भ कर दीजिये और सम्बंधित योग्यता प्राप्त करने के बाद आप इस पद के लिए आवेदन कर सकते हैं।

यह भी पढ़ें:

  1. TET परीक्षा क्या है ?
  2. NET परीक्षा क्या है ?
3 thoughts on “स्कूल प्रिंसिपल कैसे बनें ?”

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

error: Content is protected !!